भारत और इंडोनेशिया के बीच ऐतिहासिक समझौता: पारंपरिक चिकित्सा की गुणवत्ता और सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए एक नई दिशा

भारत और इंडोनेशिया के बीच ऐतिहासिक समझौता: पारंपरिक चिकित्सा की गुणवत्ता और सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए एक नई दिशा

नई दिल्ली: भारत और इंडोनेशिया के बीच एक ऐतिहासिक समझौता हुआ, जिसका उद्देश्य पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों की गुणवत्ता, सुरक्षा और प्रभावकारिता को सुनिश्चित करना है। यह समझौता ज्ञापन प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और इंडोनेशिया के राष्ट्रपति श्री प्रबोवो सुबियांतो की उपस्थिति में हैदराबाद हाउस, नई दिल्ली में आदान-प्रदान किया गया, जो दोनों देशों के बीच समृद्ध औषधीय परंपराओं को सुरक्षित और बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

इस समझौते के तहत, भारतीय चिकित्सा और होम्योपैथी के लिए फार्माकोपिया आयोग (पीसीआईएमएण्‍डएच) और इंडोनेशियाई खाद्य एवं औषधि प्राधिकरण के बीच परंपरागत चिकित्सा गुणवत्ता आश्वासन के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने पर जोर दिया गया है। केंद्रीय आयुष राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री प्रतापराव जाधव ने इस समझौते के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा, "यह सहयोग परंपरागत दवाओं की सुरक्षा और गुणवत्ता सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, जिससे इस मूल्यवान स्वास्थ्य देखभाल प्रणाली को एकीकृत और वैज्ञानिक दृष्टिकोण से विनियमित किया जा सकेगा।"

आयुष मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने इस ऐतिहासिक समझौते के प्रमुख बिंदुओं को साझा करते हुए कहा, "यह रणनीतिक सहयोग वैश्विक स्वास्थ्य सेवा में पारंपरिक चिकित्सा की भूमिका को मजबूत करेगा और इसके तहत दोनों देशों के बीच ज्ञान का आदान-प्रदान और क्षमता निर्माण को बढ़ावा मिलेगा।" इसके अलावा, पारस्परिक रूप से सहमत क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ावा देने के लिए कार्यशालाएं, परिसंवाद और प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा, जो दोनों देशों के चिकित्सा विशेषज्ञों को और अधिक सशक्त बनाएंगे।

यह समझौता भारत और इंडोनेशिया के बीच पारंपरिक चिकित्सा के वैश्विक मानकों और गुणवत्ता को बढ़ावा देने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है, और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों के एकीकरण का मार्ग प्रशस्त करता है। साथ ही, यह दोनों देशों की सांस्कृतिक और औषधीय धरोहर को संरक्षित और नवाचारी दृष्टिकोण से आगे बढ़ाने का अवसर प्रदान करेगा।

इस समझौते के माध्यम से, भारत और इंडोनेशिया एक साझा दृष्टिकोण के तहत परंपरागत चिकित्सा की सुरक्षा, प्रभावकारिता और पहुंच सुनिश्चित करने के लिए मिलकर काम करेंगे, जो न केवल उनके देशों में बल्कि वैश्विक स्तर पर भी स्वास्थ्य देखभाल प्रणालियों के रूप में एक नई दिशा प्रस्तुत करेगा।

यह समझौता भारत और इंडोनेशिया के बीच सहयोग की एक नई मिसाल कायम करता है, जो दुनियाभर में पारंपरिक चिकित्सा के बढ़ते महत्व और स्वीकृति को साबित करता है, और स्वास्थ्य क्षेत्र में एक नई शुरुआत का प्रतीक है।