राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा में नया मील का पत्थर: एनआईएचएफडब्ल्यू के वार्षिक दिवस पर नवाचार, शोध और स्वास्थ्य उत्कृष्टता का हुआ उत्सव

राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा में नया मील का पत्थर: एनआईएचएफडब्ल्यू के वार्षिक दिवस पर नवाचार, शोध और स्वास्थ्य उत्कृष्टता का हुआ उत्सव

भारत की स्वास्थ्य क्रांति को नई ऊंचाईयों पर ले जाने के लिए स्वास्थ्य मंत्री श्री जे.पी. नड्डा ने किया ऐलान – वैक्सीन प्रबंधन केंद्र बनेगा अंतरराष्ट्रीय उत्कृष्टता केंद्र, डिजिटल लर्निंग से होगा स्वास्थ्य शिक्षा का सशक्तिकरण

नई दिल्ली: भारत के सार्वजनिक स्वास्थ्य क्षेत्र में एक नए युग की शुरुआत करते हुए, केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री श्री जे.पी. नड्डा ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण संस्थान (एनआईएचएफडब्ल्यू) के 48वें वार्षिक दिवस समारोह की वर्चुअल अध्यक्षता की। इस ऐतिहासिक अवसर पर केंद्रीय राज्य मंत्री श्रीमती अनुप्रिया पटेल भी मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहीं।

स्वास्थ्य सेवा में नवाचार और डिजिटल क्रांति

इस समारोह में सार्वजनिक स्वास्थ्य को आधुनिक बनाने की दिशा में कई महत्वपूर्ण घोषणाएँ की गईं। श्री नड्डा ने कहा, "एनआईएचएफडब्ल्यू को एक वैश्विक उत्कृष्टता केंद्र बनाने के लिए वैक्सीन प्रबंधन और कोल्ड चेन सिस्टम को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उन्नत किया जा रहा है। यह भारत की नेतृत्वकारी भूमिका का प्रमाण है।"

उन्होंने यह भी कहा कि संस्थान की डिजिटल लर्निंग पहलें आधुनिक स्वास्थ्य शिक्षा को नई दिशा देंगी। मिशन कर्मयोगी के तहत, एनआईएचएफडब्ल्यू अब स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के सभी संस्थानों के लिए उन्मुखीकरण कार्यशालाओं का संचालन कर रहा है, जिससे प्रशिक्षित पेशेवरों की संख्या में अप्रत्याशित वृद्धि होगी।

स्वास्थ्य शिक्षा और अनुसंधान में अभूतपूर्व विस्तार

इस अवसर पर आरोग्य शक्ति पार्क, सक्षम-मीडिया लैब और ओपन जिमनेजियम पार्क का उद्घाटन किया गया, जो न केवल स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करेंगे बल्कि स्वस्थ जीवनशैली को भी प्रोत्साहित करेंगे।

केंद्रीय राज्य मंत्री श्रीमती अनुप्रिया पटेल ने कहा, "2014 से अब तक चिकित्सा महाविद्यालयों की संख्या 101% बढ़कर 780 हो गई है, जबकि एम्स की संख्या 6 से बढ़कर 22 हो चुकी है। यह दर्शाता है कि भारत अब सिर्फ उपचारात्मक नहीं, बल्कि निवारक और पुनर्वास दृष्टिकोण की ओर भी बढ़ रहा है।"

उन्होंने आयुष्मान भारत योजना और प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना (PMBJP) की सफलता को रेखांकित करते हुए कहा कि ये योजनाएँ "आमजन के लिए स्वास्थ्य सेवा को अधिक किफायती और सुलभ बना रही हैं।"

स्वास्थ्य सेवा में क्रांतिकारी बदलाव का संकल्प

कार्यक्रम के दौरान, द्विवार्षिक हिंदी पत्रिका "जन स्वास्थ्य धारणा" का विमोचन किया गया, जो स्वास्थ्य से जुड़े महत्वपूर्ण शोध और विचारों को जनता तक पहुँचाने का एक प्रभावी माध्यम बनेगी।

श्री नड्डा ने अपने समापन भाषण में कहा, "हम सभी के लिए स्वास्थ्य सुनिश्चित करने और अपने सार्वजनिक स्वास्थ्य संस्थानों को और अधिक मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हम एक स्वस्थ, मजबूत और लचीले भारत के निर्माण की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं।"

इस समारोह में विभिन्न राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय संगठनों के प्रतिनिधियों, शोधकर्ताओं, शिक्षाविदों और उद्योग जगत के भागीदारों ने भाग लिया और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में हो रहे अभूतपूर्व परिवर्तनों को लेकर अपने विचार साझा किए।

निष्कर्ष

एनआईएचएफडब्ल्यू का यह वार्षिक दिवस समारोह भारत की स्वास्थ्य सेवा को सुदृढ़ करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ। इस अवसर पर की गई घोषणाएँ और नवाचार देश के स्वास्थ्य क्षेत्र में एक नई क्रांति लाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होंगे। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के इस प्रयास से भारत एक स्वास्थ्य-समृद्ध राष्ट्र बनने की ओर अग्रसर हो रहा है।