स्पिन के सामने बेबस टीम इंडिया? केएल राहुल का बड़ा बयान—‘हम पहले की पीढ़ी जितना अच्छा स्पिन नहीं खेल पा रहे’, समाधान के लिए दिग्गजों से सीखने को तैयार
रांची | भारत की दक्षिण अफ्रीका से 0-2 की टेस्ट सीरीज़ हार के बाद टीम इंडिया के अनुभवी बल्लेबाज केएल राहुल ने एक सच्चाई को सार्वजनिक रूप से स्वीकार किया है। उन्होंने माना कि वर्तमान भारतीय टेस्ट बल्लेबाज पहले की पीढ़ी की तरह स्पिन गेंदबाज़ी का सामना उतनी कुशलता से नहीं कर पा रहे हैं। यह स्वीकारोक्ति उस समय आई है जब भारत घरेलू परिस्थितियों में भी चौथी पारी में स्पिन के सामने संघर्ष करता दिखाई दिया।
“पहले जैसे स्पिन नहीं खेल पा रहे… वजह साफ नहीं” – केएल राहुल
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ रांची में होने वाले पहले वनडे से पहले मीडिया से बातचीत में, कप्तान की जिम्मेदारी निभा रहे राहुल ने कहा— “हम यह मानते हैं कि हम पहले की पीढ़ियों की तरह स्पिन को अच्छे से नहीं खेल पा रहे हैं। इसकी सटीक वजह तो नहीं पता, लेकिन हम सभी इस समस्या को समझते हैं और इसे सुधारने के लिए प्रयासरत हैं।” उनका बयान Indian batting की तकनीक और मानसिकता पर एक ईमानदार आत्ममंथन के रूप में देखा जा रहा है।
सुनिल गावस्कर जैसे दिग्गजों से सीखने को तैयार
राहुल ने यह भी साफ किया कि भारतीय बल्लेबाज अपनी कमियों को दूर करने के लिए क्रिकेट के महान खिलाड़ियों—खासतौर से सुनील गावस्कर—से सीखने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। उन्होंने कहा कि जो खिलाड़ी व्यक्तिगत स्तर पर अपनी कमजोरियों को पहचानेंगे, वही सुधार की दिशा में आगे बढ़ पाएंगे।
द. अफ्रीका के खिलाफ शर्मनाक हार बनी चर्चा का केंद्र
यह बयान तब आया है जब भारत को कोलकाता टेस्ट में स्पिन-अनुकूल पिच पर दक्षिण अफ्रीका के स्पिनर्स—
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साइमॉन हार्मर
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केशव महाराज
ने भारतीय बल्लेबाजों को चकनाचूर कर दिया था।
भारत 124 रनों के सरल से लक्ष्य का पीछा करते हुए सिर्फ 93 रन पर ऑल आउट हो गया—जो घरेलू मैदान पर चौथी पारी में उनका सबसे कम स्कोर है।
टीम इंडिया के लिए ‘रेड अलर्ट’
भारतीय क्रिकेट में स्पिन हमेशा ताकत माना जाता रहा है, लेकिन हालिया प्रदर्शन ने नई पीढ़ी की तकनीक पर सवाल खड़े कर दिए हैं। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि भविष्य के टेस्ट मुकाबलों में टीम इंडिया इस कमजोरी से कैसे उबरती है और क्या दिग्गजों की सलाह बल्लेबाजी को मजबूती दे पाती है।






