रावण दहन बुराई पर अच्छाई की विजय का संदेश : राजेश त्रिपाठी

रावण दहन बुराई पर अच्छाई की विजय का संदेश : राजेश त्रिपाठी

बड़हलगंज।

विजयादशमी महापर्व के अवसर पर गुरुवार को नगर के रामलीला बाग में परम्परागत मेले और रावण दहन कार्यक्रम का भव्य आयोजन हुआ। इस दौरान चिल्लूपार के विधायक एवं पूर्व मंत्री राजेश त्रिपाठी ने कहा कि रावण दहन तभी सार्थक होगा जब हम अपने भीतर छिपी बुराइयों को भी समाप्त कर समाज में भाईचारा और सौहार्द कायम करें।

रावण दहन का असली अर्थ : बुराइयों का अंत

विधायक राजेश त्रिपाठी ने कहा कि विजयादशमी असत्य पर सत्य और अधर्म पर धर्म की विजय का प्रतीक पर्व है। उन्होंने कहा कि भगवान श्रीराम ने सत्य और धर्म के मार्ग पर चलते हुए रावण का वध किया। आज हमें भी यह संकल्प लेना होगा कि हम समाज से अहंकार, लोभ, ईर्ष्या और द्वेष जैसी बुराइयों का दहन करें।

रामलीला मंचन बना आकर्षण

कार्यक्रम से पूर्व रामलीला मंचन ने दर्शकों का मन मोह लिया। बीते दस दिनों से लगातार चल रही रामलीला के समापन पर कलाकारों ने राम-रावण युद्ध और राम-जानकी मिलन का सजीव चित्रण प्रस्तुत किया। जैसे ही राम ने रावण का वध किया, मैदान "जय श्रीराम" के नारों से गूंज उठा। नगर पंचायत प्रशासन ने रामलीला बाग को आकर्षक रोशनी और सजावट से सुसज्जित किया था।

आतिशबाजी से गूंज उठा आसमान

रावण का विशालकाय पुतला दहन होते ही चारों ओर पटाखों और आतिशबाजी की गूंज सुनाई दी। आसमान रंग-बिरंगी रोशनी से जगमगा उठा। मेले में उमड़ी भीड़ ने दुकानों, झूलों और खेल-तमाशों का जमकर आनंद उठाया। महिलाएँ और बच्चे विशेष रूप से उत्साहित दिखे।

गणमान्य लोगों की उपस्थिति

कार्यक्रम में नगर पंचायत की चेयरमैन प्रीति उमर, चेयरमैन प्रतिनिधि महेश उमर, ईओ रामसमुख, लिपिक सुनील कुमार, विधायक प्रतिनिधि आचार्य वेद प्रकाश त्रिपाठी, अनूप जायसवाल, बृजेश उमर, राजीव पाण्डेय, गंगा सोनी, सुरेश उमर, श्रीकांत सोनी, अमरनाथ उमर, अमलेश कुमार, अभिषेक पाण्डेय, सभासद दीपक शर्मा, दीपक गौड़, राकेश राय, वीरेंद्र उर्फ वीरू गुप्ता, सभासद प्रतिनिधि रामदास समेत कई अन्य गणमान्य लोग उपस्थित रहे।

समाज में सौहार्द का संदेश

विजयादशमी पर आयोजित रावण दहन कार्यक्रम ने एक बार फिर यह संदेश दिया कि बुराई चाहे कितनी भी शक्तिशाली क्यों न हो, अंततः जीत सदैव सत्य और धर्म की ही होती है। कार्यक्रम स्थल पर उपस्थित जनसमूह ने धर्म, सत्य और अहिंसा के मार्ग पर चलने का संकल्प लिया।